पिछले माह हुए साइबर हमले के बाद से ई-नगर सेवा साइट ठप है। इससे निगम के संपत्ति कर के बिल ऑनलाइन जमा नहीं हो पा रहे हैं जबकि अभी 17 हजार से अधिक बिल जमा होने बाकी हैं। लोग ऑनलाइन बिल जमा नहीं करा पा रहे हैं और मैनुअली बिल जमा कराने के लिए निगम के चक्कर काटने पड़ रहे हैं। आशंका यह भी जताई जा रही है कि निगम का ऑनलाइन डाटा उड़ भी सकता है। ऐसा हुआ तो निगम अधिकारियों और कर्मचारियों की सालों की मेहनत पर पानी फिर सकता है।नगर निगम ने करीब दो साल पहले निगम क्षेत्र की सभी संपत्तियों का पूरा डाटा ई-नगर सेवा पर अपलोड कर दिया था। इस काम में निगम के अधिकारियों और कर्मचारियों को मशक्कत करनी पड़ी थी। इसके चलते अब पिछले दो सालों से संपत्ति कर ऑनलाइन जमा हो रहा था। लोग घर बैठे ही अपने मोबाइल, लैपटॉप आदि से एक क्लिक में ही संपत्ति कर जमा कर रहे थे। निगम की भी वसूली पर भी इसका अच्छा असर पड़ा था।
पिछले साल निगम की वसूली करीब शत-प्रतिशत रही थी लेकिन दो अक्तूबर को उत्तराखंड के सरकारी कार्यालयों की साइट पर हुए साइबर हमले के बाद ई-नगर सेवा साइट ठप पड़ी है। इस साइट पर जाकर ही निगम का प्रॉपर्टी टैक्स जमा होता था। एक माह से अधिक समय बीत जाने के बाद भी साइट नहीं चल पाई है। लोगों को संपत्ति कर जमा कराने के लिए निगम आना पड़ रहा है। संपत्ति कर जमा करने के लिए केवल एक खिड़की है। इसपर हर दिन लंबी कतार लगती है। अनेक लोग तो लाइन देखकर ही लौट जाते हैं।निगम के पुराने क्षेत्र में करीब 23 हजार आवासीय और व्यवसायिक संपत्ति हैं। इनमें से करीब छह हजार लोग संपत्ति कर जमा कर चुके हैं। अब भी 17 हजार संपत्ति कर के बिल जमा होने हैं। बिलों को ऑफलाइन जमा कराने में निगम कर्मियों के साथ-साथ आम लोगों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। विभाग से जुड़े कुछ लोगों को आशंका है कि ऑनलाइन डाटा को इस साइबर हमले से नुकसान हुआ है। यदि यह बात सही साबित हुई तो निगम का डाटा ऑनलाइन करने में अधिकारियों और कर्मचारियों की कम से कम दो साल की मशक्कत पर पानी फिर जाएगा।
संपत्ति-कर वसूली पर पड़ रहा असर, लाइन
साइट के न चलने से निगम की आय पर भी काफी असर पड़ा है। संपत्ति कर 50 प्रतिशत ऑनलाइन ही जमा हो रहा था। साइट न चलने से ऑनलाइन के माध्यम से होने वाली वसूली अब शून्य हो गई है। पिछले साल नवंबर में संपत्ति कर की वसूली 50 प्रतिशत से भी अधिक हो चुकी थी लेकिन इस बार 30 प्रतिशत भी नहीं हो पाई है।
23 हजार आवास व प्रतिष्ठान से होती है वसूली
नगर निगम रुड़की अभी पुराने क्षेत्र से ही संपत्ति कर वसूल कर रहा है। निगम के पुराने क्षेत्र में 23 हजार से अधिक आवास व व्यवसायिक प्रतिष्ठान हैं। इसमें 19600 आवास हैं जबकि 3500 व्यवसायिक प्रतिष्ठान हैं।
कैसे पूरा होगा वसूली का लक्ष्य
इस बार नगर निगम रुड़की को संपत्ति कर वसूली का लक्ष्य आठ करोड़ मिला है। ऑनलाइन बिल जमा न होने से लक्ष्य को पूरा करना बेहद मुश्किल होगा। इतना भुगतान ऑफ लाइन जमा होना आसान नहीं होगा। 31 मार्च तक लक्ष्य पूरा किया जाना है। अभी लक्ष्य का 30 प्रतिशत भी वसूल नहीं हो पाया है।दो अक्तूबर के बाद से संपत्ति कर ऑनलाइन जमा नहीं हो पा रहा है। इससे काफी परेशानी हो रही है। लोगों को संपत्ति कर जमा कराने के लिए नगर निगम ही आना पड़ रहा है। इससे वसूली पर भी असर पड़ रहा है। – गिरीश चंद्र सेमवाल, कर अधीक्षक, नगर निगम रुड़की।