इन दिनों वैश्विक स्तर पर स्वास्थ्य विशेषज्ञों के लिए चिंता का कारण बना हुआ है। पिछले करीब एक साल से इस वायरस के मामले कई देशों में बढ़ते हुए देखे गए हैं। बर्ड फ्लू को आमतौर पर मुर्गियों और कुछ पक्षियों में होने वाला संक्रमण माना जाता रहा है, इंसानों में इसके मामले काफी दुर्लभ रहे हैं।पिछले कुछ वर्षों के डेटा उठाकर देखें तो पता चलता है कि वायरस में कुछ नए म्यूटेशन हुए हैं जिसके कारण ये गायों, कई अन्य जानवरों और यहां तक कि इंसानों को भी संक्रमित कर रहा है। हालिया रिपोर्ट्स में वायरस में एक और नए म्यूटेशन का पता चला है जिसे अपेक्षाकृत कई प्रकार से गंभीर और खतरनाक बताया जा रहा है।वायरस के इस नए वैरिएंट को D1.1 नाम दिया गया है। वैज्ञानिकों का कहना है कि शुरुआती अध्ययनों में इसकी प्रकृति काफी खतरनाक पाई गई है जिसमें संभावित रूप से महामारी का कारण बनने की क्षमता हो सकती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के विशेषज्ञों ने सभी लोगों को इस संक्रामक रोग से बचाव के लिए प्रयास करते रहने की सलाह दी है।
मवेशियों में बर्ड फ्लू का नया स्ट्रेन
यूएस सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (सीडीसी) ने एक रिपोर्ट में बताया कि नेवादा में मवेशियों में बर्ड फ्लू का एक नया स्ट्रेन देखा गया जिसके बाद डेयरी में काम करने वाला एक कर्मचारी भी संक्रमित हो गया। उसमें D1.1 स्ट्रेन से संक्रमण की पुष्टि की गई है। वायरस का ये वैरिएंट अब तक अमेरिका में इंसानों में देखे गए संक्रमण (B3.13 वैरिएंट) से अलग है।
क्या कहते हैं विशेषज्ञ
मिनेसोटा विश्वविद्यालय में संक्रामक रोग अनुसंधान के निदेशक और संक्रामक रोग विशेषज्ञ माइकल ओस्टरहोम ने कहते हैं वायरस के इस नए स्ट्रेन को लेकर लोग चिंतित हैं। कुछ विशेषज्ञों को डर है कि यह प्रकोप वैश्विक स्तर पर नई चुनौतियां पैदा करने वाला हो सकता है, जिस पर हम बहुत बारीकी से नजर रख रहे हैं।अमेरिकन वेटरनरी मेडिकल एसोसिएशन के अनुसार, यह वायरस आमतौर गायों में घातक नहीं रहा है। ज्यादातर गाएं ठीक हो गई हैं, पर गायों से इंसानों में फैल रहा संक्रमण जटिलताओं का कारण बन सकता है। इसकी प्रकृति को समझने के लिए अध्ययन किया जा रहा है।
अंडे-चिकन खाएं या नहीं
यूएस मीडिया की रिपोर्ट्स के मुताबिक ये वायरस ने पोल्ट्री फार्मों में भी काफी तेजी से फैल रहा है, जिसके कारण लाखों मुर्गियों की मौत हुई है। इतना है नहीं यूएस में अंडों की कीमत में भी काफी तेजी से उछाल आया है। तेजी से बढ़ते संक्रमण को देखते हुए अब सवाल खड़े हो रहे हैं कि क्या दूध, अंडे-मांस का सेवन बंद कर देना चाहिए ब्लूमबर्ग स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ में पर्यावरण स्वास्थ्य और इंजीनियरिंग विभाग में एसोसिएट प्रोफेसर मेघन फ्रॉस्ट डेविस कहते हैं कि बचाव के लिए कच्चे दूध, अंडे और मुर्गी से दूर रहें। इसके अलावा अगर आप बीमार या मृत जानवर देखते हैं तो उनसे दूर रहने की सलाह दी जाती है।
विशेषज्ञों ने किया सावधान
सीडीसी के एक विशेषज्ञ कहते है, संक्रमण से बचाव के लिए प्रयास करते रहना जरूरी है, पर ज्यादा घबराएं नहीं। बर्ड फ्लू (एवियन इन्फ्लूएंजा) तीन साल से पूरे देश और दुनिया के कई हिस्सों में फैल रहा है। फिलहाल इसका संक्रमित व्यक्ति से किसी दूसरे में संक्रमण के प्रसार का पता नहीं चला है। हालांकि, इस बात का ध्यान रखना कि आपका भोजन कहां से आता है और इसे कैसे तैयार किया गया है, ये आपको सुरक्षित रखने में बहुत मदद करेगा।फिलहाल जिन स्थानों पर संक्रमण बढ़ रहा है वहां पर सुरक्षात्मक तौर पर कच्चे दूध, अधपके मांस, चिकन आदि खाने से बचना चाहिए।
स्रोत और संदर्भ
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