बागेश्वर जिले में सरयू पुल की मरम्मत और प्लेट बदलने का काम शुरू होते ही व्यापारियों और प्रशासन के बीच तनाव की स्थिति पैदा हो गई। एनएच की ओर से पुल की मरम्मत में 20 दिन का समय लगने की बात कही गई, जबकि व्यापारी इस काम को एक सप्ताह के भीतर पूरा कराने की मांग कर रहे थे। करीब एक घंटे तक चले विवाद के बाद दोनों पक्षों के बीच 10 दिन में काम पूरा कराने पर सहमति बनी। शनिवार को सरयू पुल की मरम्मत का कार्य शुरू होना था। सुबह नौ बजे एनएच की टीम ने काम शुरू भी कर दिया। इसकी जानकारी मिलते ही व्यापार मंडल के अध्यक्ष कवि जोशी, सचिव पुष्कर किरमोलिया और अन्य व्यापारी मौके पर पहुंच गए। व्यापारियों का कहना था कि सरयू नदी पर बना ऐतिहासिक झूला पुल पहले से ही बंद है। अब मोटर पुल की मरम्मत शुरू होने से इसे भी बंद कर दिया जाएगा। इससे अस्पताल जाने वाले मरीजों, स्कूल जाने वाले विद्यार्थियों और आम नागरिकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ेगा।
व्यापारियों ने मांग की कि पुल की मरम्मत का काम 24 घंटे जारी रखा जाए, ताकि जल्द से जल्द काम पूरा किया जा सके। वहीं, एनएच की ओर से रात में काम करने में श्रमिकों की सुरक्षा को लेकर चिंता जताई गई। विवाद बढ़ता देख स्थानीय लोगों ने पुलिस को सूचना दी। कोतवाल कैलाश सिंह नेगी अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे और दोनों पक्षों के बीच बातचीत कर मामले को सुलझाने की कोशिश की। दोनों पक्षों के बीच समझौता हुआ कि पुल की मरम्मत का काम रोजाना 12 से 14 घंटे तक किया जाएगा और 10 दिन के भीतर काम पूरा कर पुल को खोल दिया जाएगा।