राजधानी दून में शनिवार को ईद-उल-अजहा पर अमन-चैन की दुआ मांगी गई। शहरभर के ईदगाह और मस्जिदों में अमन-चैन की दुआ के लिए हजारों अकीदतमंदों के हाथ उठे। लोगों ने एक-दूसरे को गले मिलकर ईद की मुबारकबाद दी। नमाज के बाद कुर्बानी की गई। शनिवार सुबह सहस्रधारा रोड, क्लेमेंटटाउन, चकराता रोड, पलटन बाजार स्थित जामा मस्जिद, सुभाषनगर, माजरा समेत 72 जगहों पर ईद की नमाज के लिए बड़ी संख्या में अकीदतमंद पहुंचे। नमाज अदा कर अमन-चैन की दुआ मांगी।
बकरीद के पर्व पर सुबह से ही लोगों ने एक-दूसरे को गले मिलकर मुबारकबाद दी। नमाज के बाद मुस्लिम समाज के लोगों ने कुर्बानी दी।शहर काजी मौलाना मोहम्मद अहमद कासमी के एलान पर शहरभर में दोपहर 12 बजे तक बाजार भी बंद रहा। शहर काजी ने कहा कि ईद-उल-अजहा का पर्व कुर्बानी की याद दिलाता है। वहीं, बकरीद के पर्व के लिए पुलिस प्रशासन भी सतर्क रहा। मस्जिदों और ईदगाह के बाहर पुलिस बल भी तैनात रहा।
नमाज अदा करने पहुंचे बच्चे, मिले गले
शनिवार को सुबह की शहर की मस्जिदों और ईदगाह में नमाज अदा करने अकीदतमंद उमड़े। इसमें छोटे-छोटे बच्चे भी आकर्षण का केंद्र रहे। बच्चों ने नमाज अदा कर एक-दूसरे को गले मिलकर मुबारकबाद दी।
बुराई को त्यागें और उसकी रजा के लिए काम करें
नेताजी संघर्ष समिति के उपाध्यक्ष प्रभात डंडरियाल और प्रमुख महासचिव आरिफ वारसी ने ईद-उल-अजहा पर मुबारकबाद दी। उन्होंने कहा कि यह पर्व त्याग और समर्पण को समर्पित है। हम सब को चाहिए कि अपने अंदर छिपी हर बुराई को हम त्यागें और समर्पण कर उसकी रजा के लिए कार्य करें। इसके अलावा ईमानदारी, सच्चाई के साथ अपने देश अपने राज्य और इंसानियत का भला करने के लिए हमेशा तैयार रहे।I