कुंभ मेला को देखते हुए तीर्थनगरी की सुरक्षा व्यवस्था अब एक महत्वपूर्ण तकनीकी अपग्रेड के साथ और भी सुदृढ़ होने जा रही है। शहर के प्रमुख चौक-चौराहों से लेकर व्यस्त राष्ट्रीय राजमार्गों तक, जल्द ही ऑटोमैटिक नंबर प्लेट रिकॉग्निशन (एएनपीआर) कैमरे लगाए जाएंगे। इन आधुनिक कैमरों की मदद से, सुरक्षाकर्मी चौबीसों घंटे शहर के प्रवेश और निकास बिंदुओं पर प्रभावी ढंग से निगरानी रख सकेंगे।एएनपीआर सिस्टम मूल रूप से एक स्मार्ट कैमरा तकनीक है, जिसमें कैमरे के अंदर ही एक छोटा कंप्यूटर लगा होता है। यह लाइव वीडियो को प्रोसेस कर वाहन की लाइसेंस प्लेट, वाहन का प्रकार, समय, तिथि सहित कई महत्वपूर्ण जानकारियों को पहचान कर उपयोगी डेटा में बदल देता है। इस सिस्टम में तीन प्रमुख हार्डवेयर कंपोनेंट हैं। जैसे ऑप्टिकल लेंस, यह कैमरे की आंख का काम करता है। जितनी अधिक मेगापिक्सल क्षमता और तेज शटर स्पीड होगी, उतनी दूर तक और सटीक नंबर प्लेट पढ़ी जा सकेगी।इसमें रात में पढ़ने के लिए इन्फ्रारेड लाइट, मौसम प्रतिरोधी केसिंग और मजबूत डिजाइन शामिल हैं। एआई सिस्टम से यह कैमरे के अंदर मौजूद एआई चिप या किसी बाहरी कंप्यूटर पर चलता है।
यही सॉफ्टवेयर नंबर प्लेट को पहचान कर उसे टेक्स्ट में बदलता है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि इन कैमरों से मिलने वाला डेटा दो तरह का होता है। जब कोई वाहन कैमरे की रेंज में प्रवेश करता है तो उसकी नंबर प्लेट और तस्वीर रिकॉर्ड होती है। मिलानित डेटा सिस्टम स्वचालित रूप से इस डेटा का पुलिस डेटाबेस से मिलान करता है। यदि कोई वाहन चोरी, अपराध या खोज के तहत है, तो तुरंत अलर्ट जारी हो जाता है। एएनपीआर कैमरे न सिर्फ ट्रैफिक प्रबंधन और अपराध नियंत्रण में मददगार होंगे, बल्कि व्यवसायिक प्रतिष्ठानों, पार्किंग, टोल प्लाजा और संवेदनशील क्षेत्रों में भी इनका उपयोग बढ़ रहा है। कैमरों से मिलने वाला सारा डेटा सुरक्षित तरीके से रिमोट कंप्यूटर में स्टोर होगा, जिसे आवश्यकता पड़ने पर अधिकारी जांच में उपयोग कर सकते हैं। हाईवे पर लगाए जाने वाले कैमरों में वाहन की गति मापने और सटीक लोकेशन पहचानने की क्षमता भी होगी। यदि कोई संदिग्ध वाहन रात 9:30 बजे हाईवे से तेज रफ्तार में गुजरेगा तो कैमरा उसकी फोटो लेकर तुरंत पुलिस कंट्रोल रूम को अलर्ट भेज देगा। इससे वाहन की दिशा, रफ्तार और लोकेशन का पता चल सकेगा और कार्रवाई तेजी से हो पाएगी।







