Sunday, September 21, 2025
Google search engine
Homeउत्तराखण्डधराली हषिल क्षेत्र में ड्रोन उड़ने पर प्रतिबंध 124 लोगों का रेस्क्यू

धराली हषिल क्षेत्र में ड्रोन उड़ने पर प्रतिबंध 124 लोगों का रेस्क्यू

हर्षिल सैन्य कैंप और हेलिपैड में तबाही मचाने वाली तेलगाड के मुहाने पर एकत्रित मलबा अभी भी बड़ा खतरा बना हुआ है। वहीं दूसरी ओर खीरगंगा की तबाही की कहानी करीब पिछले सात से आठ वर्षों से बन रही थी। क्योंकि वहां पर आसपास की बुग्याल की भूमि पर लगातार कटाव जारी था। कई वर्षों में पहली बार क्षेत्र में अधिक बारिश होने के कारण उसने पानी और मलबे के रूप में तबाही का रूप ले लिया। यही स्थिति अब तेलगाड के ऊपर बन रही है। बीते पांच अगस्त को धराली में खीर गंगा ने ऐसी तबाही मचाई की उसके जख्म शायद ही कभी कोई भूल पाएगा। वहीं उसके बाद तेलगाड के उफान पर आने के कारण सेना का बहुत नुकसान हुआ। हालांकि उसके बाद दोनों का कहर थम गया लेकिन अभी भी संकट के बादल हटे नहीं हैं। हर्षिल के सेना कैंप और हेलिपैड को क्षति पहुंचाने वाली तेलगाड के मुहाने की तस्वीर जो सामने आई है। वह बहुत ही चिंताजनक है। क्योंकि वहां पर अभी भी पहाड़ी पर मलबा एकत्रित है। जो कि कभी भी बड़ी आपदा का रूप ले सकता है।

124 लोगों को लाया गया मातली
अपराह्न तीन बजे तक मातली हेलीपैड पर 124 लोगों को और चिन्यालीसौड़ हवाई पट्टी पर 53 लोगों को रेस्क्यू कर लाया जा चुका है।

धराली, हषिल क्षेत्र में ड्रोन उड़ने पर जिला प्रशासन ने लगाया प्रतिबंध
धराली, हषिल क्षेत्र में ड्रोन उड़ने पर जिला प्रशासन ने प्रतिबंध लगा दिया। अपर जिला अधिकारी मुक्त मिश्रा ने इस संबंध में जानकारी दी। बताया कि इससे हेलिकॉप्टरों के उड़ान में बाधा हो सकती है।

भारतीय सेना को दिया धन्यवाद
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने रेस्क्यू टीम के कार्य की सरहाना की। भारतीय सेना का धन्यवाद किया। कहा कि संकट के समय में सेना ने सबसे पहले पहुंचकर मदद की। सेना के आठ जवान अभी भी लापता है। अपने सिपाहियों के गायब होने के बावजूद सीमित साधनों के साथ रेस्क्यू मिशन पूरा करने का प्रयास रहे हैं। माहरा ने कहा कि प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए एक टीम तैयार करनी चाहिए। धराली से लौटकर कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करना माहरा ने प्रेस कांफ्रेंस की। उन्होंने धराली हादसे में पीड़ित परिवारों के दुःख दर्द को साझा किया। बीते दिनों करन माहरा ग्राउंड जीरो में पहुंचे थे। उन्होंने राज्य सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि धराली में पानी और खाने की व्यवस्था नहीं की गई। लोग विस्थापित होने की मांग कर रहे हैं। उन्होंने राज्य सरकार से सवाल पूछे। कहा कि भारी संख्या में मजदूर लापता हैं। होटल और होम स्टे में रुके श्रद्धालुओं और मजदूरों की सूची जारी की जानी चाहिए।

53 लोगों को लाया गया मातली हेलीपैड
अपराह्न 12 बजे तक मातली हेलीपैड पर 53 लोगों को और चिन्यालीसौड़ हवाई पट्टी पर 25 लोगों को रेस्क्यू कर लाया जा चुका है। मातली और चिन्यालीसौड़ में रेस्क्यू किए लोगों को गंतव्य तक पहुंचने के सभी इंतज़ाम भी सुनिश्चित किए गए हैं। इस दौरान खाद्य पदार्थों और जरूरी समान की खेप भी आपदा प्रभावित क्षेत्रों के लगातार भेजी जा रही है।

सीएम ने दी श्रद्धांजलि
सीएम पुष्कर सिंह धामी ने उत्तरकाशी और पौड़ी जिलों के विभिन्न गांवों में हाल ही में अपने प्रियजनों को खोने वाले लोगों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त की और दिवंगत आत्माओं की शांति के लिए प्रार्थना की।

20 लोगों को सुरक्षित रेस्क्यू कर लाया गया
धराली हर्षिल आपदा के बाद राहत बचाव कार्य युद्ध स्तर पर जारी है। सुबह 11 बजे तक मतली हेलीपैड पर 20 लोगों को सुरक्षित रेस्क्यू कर लाया जा चुका है। प्राथमिक जांच के बाद उन्हें गंतव्य के लिए भेजा जा रहा है। धराली हर्षिल के आपदा प्रभावित क्षेत्रों में पर्याप्त मात्रा में जरूरी समान की उपलब्धता सुनिश्चित की गई है । खाद्य पदार्थ व अन्य राहत सामग्री घर घर पहुंचाने का कार्य शुरू किया जा चुका है।

170 लोगों को रेस्क्यू कर लाया जा चुका है देहरादून
धराली में पांच अगस्त की आपदा के कारण विभिन्न स्थानों पर फंसे लोगों/तीर्थयात्रियों का रेस्क्यू जारी है। पिछले तीन दिनों में वायुसेना के विमान, चिनूक, एमआई-17 और चीता हेलिकॉप्टर की मदद से कुल 170 लोगों को दून एयरपोर्ट लाया जा चुका है। शनिवार को चिनूक और एमआई-17 हेलिकॉप्टर से कुल 58 तीर्थयात्रियों को हर्षिल से देहरादून एयरपोर्ट लाया गया। इसके साथ ही हैदराबाद के चार वैज्ञानिकों की एक टीम को धराली भेजा गया है। देहरादून एयरपोर्ट पर लाए जा रहे यात्रियों का स्वास्थ्य परीक्षण, जरूरी उपचार, निःशुल्क दवा वितरण और रिफ्रेशमेंट कराने के बाद बसों से आईएसबीटी देहरादून और ऋषिकेश भेजा जा रहा है। जहां से सभी लोग अपने घरों को रवाना हो रहे हैं। शनिवार को एयरपोर्ट से 125 केवी का जेनसेट, ऑयल बैरल सहित जरूरी राहत सामग्री धराली भेजी गई।

धराली क्षेत्र में राहत व बचाव अभियान युद्धस्तर पर
आपदा प्रभावित धराली क्षेत्र में राहत व बचाव अभियान युद्धस्तर पर जारी है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देशानुसार आपदा प्रभावित क्षेत्रों में जरूरी समान की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित की गई है। आपदा प्रभावितों को जीवनोपयोगी वस्तुएं, खाद्य पदार्थ सहित विभिन्न प्रकार की राहत सामग्री उपलब्ध कराने का अभियान लगातार जारी हैं । प्रभावितों को चिकित्सकीय सहायता उपलब्ध कराने के लिए विशेषज्ञ चिकित्सकों सहित चिकित्सा दल निरंतर आपदाग्रस्त क्षेत्र में तैनात रहकर सेवाएं प्रदान कर रहे हैं।

RELATED ARTICLES
- Advertisment -
Google search engine






Most Popular

Recent Comments