अंतरराष्ट्रीय सोना तस्कर गिरोह में फाइनेंसर, डॉक्टर और ट्रेवल एजेंट भी शामिल हैं। पुलिस ने केस में नौ फाइनेंस, डॉक्टर, ट्रेवल एजेंट को भी आरोपी बनाया है। पुलिस जांच में सामने आया है कि गिरोह केवल टांडा में ही नहीं, बल्कि मंडलभर में फैला है। इस गिरोह में मुरादाबाद, रामपुर, अमरोहा और संभल के लोग भी जुड़े हैं, जिनसे फाइनेंसर विदेश से सोना मंगवा रहे हैं। हर साल इस गिरोह में सदस्य बढ़ रहे हैं।
सोना लाने वाले कई लोग अब भी दुबई में मौजूद हैं, लेकिन चार तस्करों के पकड़े जाने के बाद उन्हें दुबई में ही रोक दिया गया है। पुलिस की गिरफ्त में आए चारों सोना तस्करों से पूछताछ में पता चला है कि यह लोग रामपुर के टांडा थाना क्षेत्र के हाजीपुरा निवासी फाइनेंसर जाहिद मेंबर, टांडा के मोहल्ला पड़ाव निवासी मो. रिजवान, टांडा के आजाद नगर निवासी मो. हारुन, हाजीपुरा निवासी हाजी शरीफ, टांडा के मोहल्ला हाजीपुरा निवासी हाजी अनीस, हाजीपुरा निवासी जुनैद, मोहल्ला रांद निवासी वसीम, नज्जीपुरा निवासी गुड्डू, टांडा निवासी पप्पू के लिए काम करते हैं।
गिरोह में डॉक्टर और ट्रेवल एजेंट भी शामिल
आने जाने और खाने पीने का पूरा खर्चा फाइनेंसर ही उठाते हैं। गिरोह में डॉक्टर और ट्रेवल एजेंट भी शामिल हैं। इस गिरोह में मुरादाबाद मंडल के दूसरे जिलों के युवा भी इनके साथ जुड़े हैं। आरोपियों ने बताया कि कभी-कभी उनके पेट में कैप्सूल फंस जाते हैं, तब पेट में बहुत ज्यादा दर्द होता है। इसके बाद फाइनेंसर ही डॉक्टरों को बुलाते हैं और इलाज कराते हैं।
सऊदी अरब से लौटे दोनों युवकों को पुलिस ने पूछताछ के बाद छोड़ा
बदमाशों के चंगुल से बचाए गए मो. नावेद और जाहिद की कोई भूमिका सामने नहीं आई है। अल्ट्रासाउंड में उनके पेट में सोने की पुष्टि नहीं हुई। इसके अलावा वह दुबई नहीं, बल्कि सऊदी अरब से आए थे। चारों तस्करों के बारे में उन्हें कोई जानकारी नहीं थी। एसपी सिटी कुमार रण विजय सिंह ने बताया कि नावेद और जाहिद की कोई भूमिका सामने नहीं आई है। उन्हें पूछताछ के बाद छोड़ दिया गया।
दो कैप्सूल बाकी, एक तस्कर को दोबारा जिला अस्पताल में भर्ती कराया
डॉक्टरों की टीम के काफी प्रयास के बाद भी एक तस्कर के पेट से सोने के दो कैप्सूल नहीं निकल पाए। पुलिस ने उसे कोर्ट में पेश किया और रिमांड मांगी। कोर्ट से तस्कर की पुलिस रिमांड मंजूर होने के बाद उसे दोबारा जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है। रामपुर के टांडा थाना क्षेत्र के यूसुफ चौक निवासी मुत्तलीब के पेट से आठ कैप्सूल निकल चुके हैं, लेकिन दो कैप्सूल उसके गेट में ही फंसे हैं। एसपी सिटी कुमार रण विजय सिंह ने बताया कि आरोपी तस्कर मुत्तलीब को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
इन धाराओं में दर्ज किया गया केस
मूंढापांडे थाने में अपराध निरीक्षण जितेंद्र कुमार की ओर से चारों तस्करों और नाै नामजद फाइनेंसरों और कुछ अज्ञात के खिलाफ बीएनएस की धारा 111, 318(4), 338, 336(3), 340 और 135 कस्टम एक्ट के तहत केस दर्ज किया गया है।
99.9 प्रतिशत शुद्ध है बरामद सोना
एसपी सिटी कुमार रणविजय सिंह ने बताया कि बरामद सोने की जांच कराई गई है, जिसमें पता चला कि बरामद सोना 99.9 प्रतिशत शुद्ध है।
टूरिस्ट वीजा पर तस्करों को भेजा गया था दुबई
अंतरराष्ट्रीय सोना तस्करी का गिरोह संचालित कर रहे फाइनेंसरों ने चारों तस्करों को टूरिस्ट वीजा पर दुबई भेजा था। यह तस्कर अलग-अलग तारीख में दुबई गए और अलग-अलग तारीख में ही वापस आए। इसके बाद सभी मुंबई में इकट्ठे हुए और वहां से एक साथ टांडा लौट रहे थे। एसपी सिटी ने बताया कि आरोपी शाने आलम पांच माह में पांच बाद दुबई जा चुका है। वह 19 मई को दुबई गया था और 22 मई को दुबई से मुंबई आया था। इसके अलावा मुत्तलिब दस बार दुबई जा चुका है। इस बार 17 मई को दुबई गया और 21 मई को दुबई से लौटा था। इसके बाद वह मुंबई से दिल्ली तक फ्लाइट से आया था। अजहरुद्दीन नौ बार दुबई जा चुका है। वह 19 मई को दुबई गया और तीन दिन बाद ही 22 मई को लौट आया। जुल्फेकार दो साल में 20 बार दुबई जा चुका है। अंतिम बार वह 19 मई को दुबई गया था और वहां से 23 मई को फ्लाइट से मुंबई और मुंबई से दिल्ली पहुंचा था।
पुलिस ने इमिग्रेशन डिपार्टमेंट से ली यात्रा की जानकारी
पुलिस ने आरोपियों की यात्रा की जानकारी जुटानी शुरू कर दी है। इसके लिए पुलिस ने इमिग्रेशन डिपार्टमेंट से संपर्क किया। एयरपोर्ट पर तैनात रहने वाले एमिग्रेशन डिपार्टमेंट की चौकियां हैं। यह विभाग यात्रा करने वालों का पूरा रिकार्ड अपने पास रखता है। इसके अलावा पुलिस ने रिपोर्ट तैयार कर कस्टम विभाग को भेज रही है। हालांकि, कस्टम विभाग की टीम भी जांच करके चली गई है। ब्यूरो
एलआईयू ने शुरू की वीजा की जांच
एसएसपी सतपाल अंतिल ने बताया कि सोना तस्करों से पूछताछ में पता चला है कि उन्होंने कई बार यात्रा की है। एक-एक व्यक्ति ने इतनी बार कैसे यात्रा की है। इनके वीजा की जांच के लिए एलआईयू को लगाया गया है।