ऋषिकेश, बापूग्राम। ऋषिकेश के बापूग्राम की निवासी अंजलि थपलियाल ने अपनी मेहनत और उत्कृष्ट शैक्षणिक प्रदर्शन के बल पर एक बड़ी उपलब्धि हासिल की है। उन्हें अमेरिका की प्रतिष्ठित साउथ डकोटा यूनिवर्सिटी, वाशिंगटन में शोध करने के लिए आमंत्रित किया गया है।
अंजलि वर्तमान में शूलिनी यूनिवर्सिटी, हिमाचल प्रदेश में बी.टेक (बायोटेक्नोलॉजी) की छात्रा हैं। उनका चयन ओजोन परत पर प्लास्टिक के धुएं से पड़ने वाले प्रभावों और उसके समाधान पर शोध करने के लिए किया गया है। यह शोध पांच महीने तक चलेगा, जिसमें प्लास्टिक को बायो-फॉर्म में बदलने की संभावनाओं पर अध्ययन किया जाएगा।
देशभर से केवल दो छात्रों का चयन
अंजलि ने बताया कि इस शोध परियोजना के लिए पूरे भारत से केवल दो छात्रों को चुना गया है, जिनमें से एक वह स्वयं हैं। उन्होंने अपनी इस सफलता का श्रेय अपने कठिन परिश्रम और बी.टेक कोर्स के दौरान मिले उत्कृष्ट ग्रेड को दिया। उनका मानना है कि यह अवसर उनके लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है, जिससे वे विज्ञान और पर्यावरण संरक्षण के क्षेत्र में योगदान दे सकेंगी।
परिवार और शुभचिंतकों की खुशी
अंजलि के पिता राजीव थपलियाल एक पेशेवर बॉडी बिल्डर हैं, जबकि उनकी माता प्रभा थपलियाल एक स्कूल संचालिका हैं। उनके बड़े भाई अनंत थपलियाल अंतरराष्ट्रीय स्तर के बैडमिंटन खिलाड़ी हैं और वर्तमान में जर्मनी में प्रशिक्षण दे रहे हैं।
अंजलि की इस उपलब्धि से न केवल उनके परिवार बल्कि पूरे क्षेत्र में खुशी की लहर है। स्थानीय लोग और शुभचिंतक उनके घर जाकर बधाई दे रहे हैं और उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना कर रहे हैं।
वैज्ञानिक अनुसंधान में बढ़ता भारत का योगदान
भारत के युवा वैज्ञानिकों और शोधकर्ताओं के लिए यह एक प्रेरणादायक उपलब्धि है। अंजलि का यह शोध प्लास्टिक प्रदूषण और पर्यावरण संरक्षण के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दे सकता है। उनकी इस उपलब्धि से अन्य छात्रों को भी उच्च शिक्षा और शोध के क्षेत्र में आगे बढ़ने की प्रेरणा मिलेगी।