आज उत्तराखंड क्रांति दल के केंद्रीय कार्यालय में संस्कृति बचाओ पदयात्रा के संयोजक श्री राजेंद्र सिंह बिष्ट एवं उनके सहयोगियों का स्वागत एवं सम्मान समारोह आयोजित किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत में दल के संस्थापक स्वर्गीय विपिन चंद्र त्रिपाठी को भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की गई। कार्यक्रम की अध्यक्षता संरक्षक श्री शक्तिशैल जी ने की। उन्होंने अपने उद्बोधन में कहा कि किसी भी दल की उन्नति में युवाओं की महत्वपूर्ण भूमिका होती है और उत्तराखंड क्रांति दल को आगे ले जाने में युवाओं को सक्रिय भागीदारी निभानी होगी।
कार्यक्रम में केंद्रीय उपाध्यक्ष श्री जयप्रकाश उपाध्याय ने संस्कृति बचाओ पदयात्रा के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि इस यात्रा के माध्यम से नारसन से मल्हारी तक जनता को जागरूक करने का प्रयास किया गया है। उन्होंने बताया कि उत्तराखंड क्रांति दल ने 42 शहादतें देकर राज्य का निर्माण करवाया था ताकि यहां के मूल निवासियों के जल, जंगल और जमीन को सुरक्षित रखा जा सके। लेकिन राष्ट्रीय दलों ने क्रमशः यहां के प्राकृतिक संसाधनों का दोहन किया और स्थानीय निवासियों के अधिकारों का हनन किया, जिसे उत्तराखंड क्रांति दल किसी भी स्थिति में सहन नहीं करेगा। उन्होंने सरकार को स्पष्ट चेतावनी देते हुए कहा कि जिस तरह राज्य निर्माण के लिए आंदोलन किया गया था, उसी प्रकार यदि आवश्यक हुआ तो राज्य को बचाने के लिए भी बड़ा आंदोलन किया जाएगा।
केंद्रीय महामंत्री श्री बृजमोहन सजवान ने अपने संबोधन में कहा कि संस्कृति बचाओ पदयात्रा के दौरान स्थानीय निवासियों से जनसंपर्क किया गया, जिसमें स्पष्ट रूप से यह सामने आया कि पहाड़ी समाज अब पूरी तरह जागरूक हो चुका है और उत्तराखंड क्रांति दल को सत्ता में देखना चाहता है। जनता चाहती है कि एक बार फिर से क्षेत्रीय ताकतें इस पहाड़ी राज्य की बागडोर संभालें। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के मूल निवास और रोजगार के लिए हम एक बड़े आंदोलन की तैयारी कर रहे हैं, जिसकी घोषणा जल्द ही की जाएगी।
संयोजक श्री राजेंद्र सिंह बिष्ट ने कहा कि उत्तराखंड के युवाओं के भविष्य को लेकर वे अत्यंत चिंतित हैं और आने वाले समय में रोजगार व मूल निवास के अधिकारों के लिए एक निर्णायक आंदोलन किया जाएगा। उन्होंने यात्रा के अनुभव साझा करते हुए बताया कि विभिन्न स्थानों पर लोगों ने उत्तराखंड क्रांति दल का खुलकर स्वागत किया और उनके इस समर्थन के लिए वे आभार व्यक्त करते हैं। उन्होंने कहा कि यह समर्थन ही उन्हें उत्तराखंड आंदोलन की तर्ज पर राज्य को बचाने के लिए एक नए आंदोलन की तैयारी करने की प्रेरणा देता है।
इस अवसर पर कार्यक्रम का संचालन केंद्रीय मीडिया प्रभारी श्री अनिल थपलियाल ने किया। कार्यक्रम में वरिष्ठ नेता श्रीमती राजेश्वरी रावत, श्रीमती शकुंतला रावत, श्रीमती विमला बहुगुणा, श्री संतोष भट्ट, श्रीमती बबीता, श्री आशुतोष नेगी, श्री आशीष नेगी, श्री बीपी भट्ट, श्री आरसी उनियाल, श्री संजीव भट्ट, श्री देवचंद उत्तराखंडी, श्री भोला चमोली, श्री प्रवीण रमोला, श्री मनीष रावत, श्री रामपाल जी, श्री टीकम राठौर, श्रीमती प्रीति भूषण, श्री मोहन सिंह रावत, श्री बीपी खंडूरी, श्री राजेश ध्यान, श्री राकेश चौहान, श्री योगेश, श्री नितिन रावत, श्री अनूप बिष्ट, श्री श्याम सिंह रमोला, श्री अरविंद बिष्ट, श्री गजेंद्र नेगी सहित कई पदाधिकारी एवं गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे।