यूपी में नशे के गढ़ में सैकड़ों की फोर्स के साथ गरजकर एसएसपी मणिकांत मिश्रा ने सिंडिकेट चलाने वाले अपराधियों को कड़ा संदेश पहुंचाने का काम किया है। प्रदेश के इतिहास में पहली दफा है, जब जिले से इतनी बड़ी फोर्स ने नशा तस्करों के ठिकानों पर दबिश दी है। इस कार्रवाई से पुलिस ने तस्करों के घर में घुसकर नशे के सिंडिकेट की जड़ें हिला दी हैं।छह महीने पहले जिले का जिम्मा संभालने के बाद एसएसपी मणिकांत मिश्रा ने युवा पीढ़ी को बर्बाद कर रहे नशा तस्करों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया था। उनकी सख्ती का असर रहा कि नशा सप्लाई वाले थाना क्षेत्रों में तस्करों की धरपकड़ में न सिर्फ तेजी आई बल्कि बड़े तस्कर दबोचे भी गए।
बरेली में बैठकर स्मैक का सिंडिकेट चला रहा रिफाकत एक जनवरी को पुलभट्टा में मुठभेड़ में घायल होने के बाद पकड़ा गया था। स्मैक तस्कर मुनाजिर, सुखविंदर, कुलविंदर, भूपेंद्र और तारिक भी मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार हुए थे। इसके बावजूद बरेली में बैठकर सिंडिकेट चला रहे नशे के सौदागरों तक पहुंचना पुलिस के लिए चुनौती था।एसएसपी ने पुलिस मुख्यालय को भरोसे में लेकर बड़ी कार्रवाई की रूपरेखा बनाई। इसके बाद ऐसी कार्रवाई की ताकि नशे के कारोबारी इस गफलत में न रहें कि दूसरे राज्य में हैं तो सुरक्षित हैं। वहां जाकर भी पुलिस उन्हें दबोच सकती है।कार्रवाई में भले ही कोई बड़ा अपराधी नहीं पकड़ा गया लेकिन इससे तस्करों की जड़े जरूर हिल गई हैं। एसएसपी मिश्रा ने कहा कि नशे के कारोबारी बख्शे नहीं जाएंगे। पुलिस उनको उनकी सही जगह सलाखों के पीछे पहुंचाने में कोई कसर नहीं रखेगी।
टाइमलाइन
देर रात 12:00 बजे : पुलभट्टा में रविवार की आधी रात पुलिस की गाड़ियां आना शुरू हुईं।
12:30 बजे : एसएसपी ने ब्रीफिंग कर जरूरी निर्देश दिए।
रात 01:00 बजे: पुलिस फोर्स दबिश के लिए रवाना हुई थी।
रात 02:30 बजे: पुलिस मौके पर पहुंची और फोर्स ने तय प्लान के तहत कार्रवाई शुरू की।
तड़के 04:00: ऊधमसिंह नगर ने अपनी कार्रवाई खत्म की। तड़के 04:10: टीम ने वापस लौटना शुरू किया और छह बजे टीम जिले में दाखिल हो गई थी।
दो आईपीएस, दो एसपी और चार सीओ रहे टीम में शामिल
नशा तस्करों के घरों पर कार्रवाई में एसएसपी के अलावा एसपी क्राइम और आईपीएस निहारिका तोमर, एसपी सिटी डॉ. उत्तम सिंह नेगी, एसपी काशीपुर अभय सिंह शामिल थे। इसके अलावा सितारगंज, रुद्रपुर, पंतनगर और काशीपुर के सीओ के अलावा थाने, पुलिस लाइन व पुलिस कार्यालय में तैनात 15 इंस्पेक्टर शामिल किए गए थे। इनमें महिला पुलिस इंस्पेक्टर भी शामिल थीं।