नैनीताल। शहर में टैक्सी संचालन को लेकर जिला प्रशासन की ओर से जारी एसओपी के बाद टैक्सी कारोबारियों को नियमों की जानकारी दी गई। बताया कि बुधवार से दो चरणों में सत्यापन अभियान चलेगा और पहले चरण में 2017 से पूर्व पंजीकृत वाहनों का सत्यापन एसओपी के नियमों के अनुसार किया जाएगा।मंगलवार को कलेक्ट्रेट सभागार में संयुक्त मजिस्ट्रेट वरुणा अग्रवाल के समक्ष टैक्सी कारोबारियों ने समस्याएं रखीं। बताया कि 2017 से पूर्व पंजीकृत अधिकतर वाहन चलन से बाहर हो गए है। ऐसे में पुराने वाहनों की संख्या कम होने के बावजूद नई गाड़ियों को शहर में संचालन की अनुमति नहीं दी जा रही है। पूर्व पंजीकृत वाहनों के चलन से बाहर होने व उनके परमिट पर नई गाड़ी खरीदने पर परिवहन विभाग पुराने परमिट पर नैनीताल प्रतिबंधित की मुहर लगा रहा है। कई सरकारी विभागों में 2017 के बाद पंजीकृत वाहन संचालित हो रहे हैं, मगर नियमों की मार केवल टैक्सी कारोबारियों को झेलनी पड़ रही है।
संयुक्त मजिस्ट्रेट ने कहा कि सत्यापन अभियान के बाद ही 2017 से पूर्व और बाद में पंजीकृत व संचालित हो रहे वाहनों का सही आंकड़ा सामने आएगा जिसे हाईकोर्ट को भी अवगत कराया जाएगा। ताकि शहर में जरूरत के मुताबिक टैक्सी वाहनों का संचालन किया जा सके।पहले चरण में टैक्सी बाइक और 2017 से पूर्व पंजीकृत वाहनों का नौ से 19 अप्रैल तक सत्यापन किया जाएगा। दूसरे चरण में 21 से 29 अप्रैल तक 2017 के बाद पंजीकृत वाहनों का सत्यापन होगा। सत्यापन के लिए रूसी बाईपास में अस्थायी कार्यालय स्थापित किया जाएगा। इसमें कमेटी सदस्य निर्धारित नियमों के तहत सत्यापन करेंगे। संयुक्त मजिस्ट्रेट ने बताया कि प्रशासन ने धर्मशाला और मस्जिद के पास पार्किंग निर्धारित की है। नो पार्किंग और सड़क किनारे या गलियों में वाहन व बाइक खड़े करने पर संबंधित वाहनों के चालान किए जाएंगे।
कमेटी का हुआ गठन
डीएम ने एसडीएम, सीओ, सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी, नगर पालिका ईओ को शामिल कर कमेटी का गठन किया है जो टैक्सी संचालन को लेकर एसओपी का अनुपालन करवाएंगे।